लखनऊ: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में स्थित चौधरी चरण सिंह अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा (CCSIA) अब और भी आधुनिक और विश्वस्तरीय सुविधाओं से लैस होने जा रहा है। अदाणी समूह (Adani Group) ने इस एयरपोर्ट के विस्तार और आधुनिकीकरण के लिए ₹10,000 करोड़ के निवेश का ऐलान किया है। इस निवेश के जरिए न सिर्फ हवाई अड्डे की क्षमता बढ़ेगी, बल्कि लखनऊ की खूबसूरती और कनेक्टिविटी में भी चार चांद लगेंगे।
हाईलाइट्स
- अदाणी समूह ने लखनऊ एयरपोर्ट विस्तार के लिए खोला ₹10,000 करोड़ का खजाना
- 2026-27 तक हवाई अड्डे की क्षमता 80 लाख से बढ़कर 140 लाख यात्री सालाना
- नया टर्मिनल, कार्गो इंफ्रास्ट्रक्चर और आधुनिक तकनीक पर होगा फोकस
- 42 सीधी उड़ानें, जिनमें 31 घरेलू और 11 अंतर्राष्ट्रीय शामिल
चरणबद्ध तरीके से होगा निवेश
Adani Airports के अधिकारी के अनुसार, यह निवेश चरणबद्ध तरीके से किया जाएगा। इसमें नई टर्मिनल इमारत, लैंडसाइड रोड इंफ्रास्ट्रक्चर, तकनीकी आधुनिकीकरण और कार्गो सुविधाओं को शामिल किया जाएगा।
कंपनी पहले ही ₹2,401 करोड़ नए टर्मिनल और सड़क ढांचे पर खर्च कर चुकी है। अब अतिरिक्त ₹900 करोड़ से टर्मिनल-3 (चरण-2) का निर्माण पूरा किया जाएगा।
क्षमता बढ़ेगी दोगुनी
वर्तमान में लखनऊ एयरपोर्ट की वार्षिक क्षमता 80 लाख यात्रियों की है। लेकिन विस्तार कार्य पूरा होने के बाद 2026-27 तक यह बढ़कर 140 लाख यात्रियों तक पहुंच जाएगी।
अदाणी एयरपोर्ट्स के अनुसार, इस विस्तार का मुख्य उद्देश्य भीड़भाड़ कम करना और यात्रियों को बेहतर अनुभव प्रदान करना है। इसके लिए “स्विंग ऑपरेशन मॉडल” अपनाया जाएगा, जिसमें अंतरराष्ट्रीय और घरेलू उड़ानों की साझा सुविधाओं का उपयोग किया जाएगा।
आधुनिक सुविधाएं और तकनीक
- एयरपोर्ट पर वर्तमान में 7 पूरी तरह से चालू एयरोब्रिज हैं, जो टाइप-डी विमानों को संभाल सकते हैं।
- एक साथ 15 विमानों की पार्किंग की सुविधा मौजूद है।
- कला और संस्कृति के साथ तकनीक का समावेश यात्रियों के अनुभव को विश्वस्तरीय बनाएगा।
लखनऊ की खूबसूरती और कनेक्टिविटी में इजाफा
फिलहाल एयरपोर्ट से 42 सीधी उड़ानें उपलब्ध हैं, जिनमें 31 घरेलू और 11 अंतर्राष्ट्रीय हैं। अंतरराष्ट्रीय यात्रियों का योगदान लगभग 19% है।
उत्तर प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में लखनऊ का योगदान लगभग 4% है। अब अदाणी समूह के इस निवेश से शहर की कनेक्टिविटी, पर्यटन और अर्थव्यवस्था को और बढ़ावा मिलेगा।